“यहां कलेक्टर का आदेश नहीं चलता”: पत्थलगांव-लोहरदगा रेलखंड सर्वे के दौरान भारत मुक्ति मोर्चा के जिला संयोजक और साथी प्रशासन और रेलवे अधिकारियों को दे रहे थे धमकी, तहसीलदार की रिपोर्ट पर अंबिकापुर की ओर भागते हुए गिरफ्तार

जशपुर, 30 अप्रैल 2025: जशपुर पुलिस ने शासकीय कार्य में बाधा डालकर शासन और प्रशासन को चुनौती देने वाले दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है। यह कार्रवाई ग्राम तिरसोंठ में चल रहे शासकीय कार्य में व्यवधान उत्पन्न करने वालों के विरुद्ध की गई है। गिरफ्तार आरोपियों में भारत मुक्ति मोर्चा का जिला संयोजक रूपनारायण एक्का (उम्र 45 वर्ष, निवासी बासेन थाना कांसाबेल, हाल मुकाम-जरिया थाना जशपुर) और सुनील खलखो (निवासी तिरसोठ) शामिल हैं। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए भाग रहे आरोपियों को अंबिकापुर रोड पर बतौली के पास से धर दबोचा।
तहसीलदार बागबहार श्री कृष्ण मूर्ति दीवान (उम्र 41 वर्ष) ने थाना पत्थलगांव में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि वे अपनी टीम के साथ दिनांक 29.04.2025 को धरमजयगढ़-पत्थलगांव-लोहरदगा रेलवे लाइन के शांतिपूर्ण सर्वे हेतु प्रातः 08 बजे कानून व्यवस्था ड्यूटी में ग्राम तिरसोंठ गए थे। इस सर्वे कार्य में रेलवे के अधिकारी एवं उनके कर्मचारी भी शामिल थे। जब अधिकारियों द्वारा कार्य शुरू किया गया, तो वहां मौजूद रूपनारायण एक्का और उसके साथियों ने सर्वे कार्य को धमकी देकर रोक दिया। उन्होंने ग्रामीणों को उकसाते हुए कहा कि भारत माला प्रोजेक्ट के तहत उनकी जमीन पहले ही प्रशासन द्वारा अधिग्रहित कर ली गई है और अब रेलवे विभाग भी जमीन अधिग्रहित करना चाहता है। उन्होंने यह भी कहा कि ग्रामीणों को न तो पहले का मुआवजा मिला है और न ही रेलवे विभाग से कोई मुआवजा मिलेगा।
रिपोर्ट के अनुसार, मौके पर मौजूद अधिकारियों ने उन्हें समझाने का प्रयास किया कि अभी केवल सर्वे का कार्य चल रहा है, जमीन अधिग्रहित नहीं की जा रही है। इसके बावजूद, आरोपी और उनके साथी आवेश में आकर प्रशासन के विरुद्ध नारेबाजी करने लगे।
कुछ देर बाद, रूपनारायण एक्का अपने साथियों के साथ फिर से वहां पहुंचा और सर्वे कार्य को रोकने की धमकी दी। उसने धमकी भरे लहजे में कहा कि “यहां पर कलेक्टर का आदेश नहीं चलता है और राज्य सरकार व केंद्र सरकार का कानून नहीं चलने देंगे, यहां सिर्फ हमारा कानून चलता है।” उन्होंने अधिकारियों को नोटिस देकर आदिवासी पंचायत में बुलाने और कांजी हाउस में बंद करने की धमकी भी दी और हाथापाई करने लगे। तहसीलदार की इस रिपोर्ट पर थाना पत्थलगांव में अप.क्र. 91/2025 धारा 121(1) (भारत सरकार के विरुद्ध युद्ध छेड़ने, या युद्ध छेड़ने का दुष्प्रेरण करने, या युद्ध छेड़ने के लिए आयुध आदि एकत्रित करने का प्रयत्न करना), 132 (विद्रोह का दुष्प्रेरण करना, यदि परिणामस्वरूप विद्रोह किया जाए), 221 (लोक सेवक द्वारा किसी व्यक्ति को विधि के अनुसार गिरफ्तार करने के लिए वैध रूप से बाध्य होते हुए उस व्यक्ति को गिरफ्तार करने का साशय लोप करना), 223 (विधिपूर्ण अभिरक्षा से लोक सेवक द्वारा उपेक्षा से पलायन करना या प्रतिरोध करना) भारतीय न्याय संहिता (बी.एन.एस.) के तहत अपराध दर्ज किया गया।
इस गंभीर मामले की निगरानी स्वयं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) श्री शशि मोहन सिंह द्वारा की जा रही थी। अपराध दर्ज होते ही आरोपियों की तत्काल गिरफ्तारी के निर्देश दिए गए थे। पुलिस टीम को आज सुबह मुखबिर से सूचना मिली कि आरोपी अंबिकापुर की ओर भाग रहे हैं। इस सूचना पर सरगुजा पुलिस को सूचित किया गया और सीतापुर-बतौली के पास नाकाबंदी की गई। भाग रहे आरोपियों को बतौली के पास से धर दबोचा गया। पुलिस द्वारा पकड़े जाने पर आरोपी रूपनारायण एक्का गिड़गिड़ाता रहा। दूसरे आरोपी सुनील खलखो को उसके निवास से गिरफ्तार किया गया। दोनों आरोपियों के विरुद्ध अपराध साबित होने पर उन्हें आज दिनांक 30.04.2025 को गिरफ्तार कर लिया गया है।
आरोपियों की गिरफ्तारी में थाना प्रभारी पत्थलगांव निरीक्षक विनीत पाण्डेय, थाना प्रभारी बतौली सी.पी. तिवारी, आरक्षक 08 पदूम वर्मा, आरक्षक आषीशन प्रभात टोप्पो एवं अन्य स्टाफ का महत्वपूर्ण योगदान रहा।
इस कार्रवाई पर प्रतिक्रिया देते हुए, जशपुर के पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) श्री शशि मोहन सिंह ने स्पष्ट रूप से कहा कि “शासकीय कार्य में बाधा डालने वाले 07 आरोपियों के विरुद्ध अपराध दर्ज किया गया है। कानून व्यवस्था के प्रश्न पर किसी को भी व्यवस्था को चुनौती देने की अनुमति नहीं दी जाएगी।” उन्होंने यह भी कहा कि शेष आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार दबिश दे रही है और उन्हें भी जल्द ही सलाखों के पीछे भेजा जाएगा।





