न्याय की उम्मीद लिए महीनों से ओड़गी थाने की चक्कर लगा रही है महिला ,पुलिस प्रशासन मौन

राकेश पाठक सूरजपुर । जहां एक ओर शासन महिलाओं के सशक्तिकरण को बढ़ावा देने की बात करते हुए श्रेय बटोरना चाहती है ,तो वही दूसरी ओर उसके कुछ नुमाइन्दे महिलाओं के शोषण करने में लगे हुए हैं। मामला ओड़गी थाने अंतर्गत ग्राम मसनकी का है जहां की एक महिला न्याय की उम्मीद लिये महीनों से ओड़गी थाने का चक्कर लगा रही है। ग्राम पंचायत मसनकी की मीना वासु पति रामरूप के साथ उसके ग्राम के ही आधे दर्जन से भी ज्यादा लोगों के द्वारा लगातार वर्षों से हाथापाई एवं जान से मारने की कोशिश की जा रही है,जिसकी शिकायत कई मर्तबा पीड़ित महिला ने थाने में की परंतु पुलिस के द्वारा आज तक महिला के शिकायत पर ना तो एफआईआर दर्ज की गई और न ही उक्त मामले की जांच की गई । परिणामस्वरूप पीड़ित महिला काफी परेशान व भयभीत जीवन जीने को मजबूर है। पीड़ित महिला वासु ने बताया कि मेरे द्वारा ओड़गी थाने में शिकायत की गई परंतु शिकायत की गई आवेदन का मुझे पावती नहीं दिया जाता और कहा जाता है कि तुम्हे पावती कोर्ट में दी जाएगी।
दो वर्ष की बच्ची के साथ हुआ हमला
महिला ने बताया कि मेरी दो वर्ष की बेटी के साथ भी मारपीट की गई जिससे उसके पसली क्रेक हो गई है । जिसे ईलाज के लिये सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ओड़गी लाया गया जहाँ से उसे सूरजपुर जिला हॉस्पिटल के लिए रेफर कर दिया गया। परंतु पैसे की अभाव के कारण अभी तक सूरजपुर ईलाज कराने के लिए नहीं जा पाए हैं ।
पानी के लिए होती है लड़ाई
इस घटना का मुख्य कारण नहर से आ रही पानी को लेकर है । जहां नहर से आ रहे पानी को पीड़ित महिला पीने के लिए ले जाती है परंतु वहां के कुछ लोगों के द्वारा महिला को नहर से पानी ले जाने के लिए मना किया जाता है, पर अपने परिवार की प्यास बुझाने के एवज में महिला उन दबंगो की बात नही मानती है और फिर क्या वहां के दबंग कुछ महिलाओं को सामने करके उसकी बेदम पिटाई करवा देते हैं । और जब महिला अपनी पिटाई की शिकायत दर्ज कराने ओड़गी थाने पहुंचती है तो वहाँ भी उसे न्याय नही मिल पाता ,पूरा थाना दबंगों के आगे नतमस्तक हो जाता है।
उक्त मामला मेरे संज्ञान में आया है । मैने पंचायत के सरपंच व पंचों के माध्यम से दोनों पक्षों को समझाने का प्रयास किया था पर वे नही माने। मैं इस मामले में तत्काल एफआईआर दर्ज कर कार्यवाही करता हूँ।
आर.एस. पैकरा
थाना प्रभारी ओड़गी