हसदेव एक्सप्रेस के स्थान पर फास्ट पैसेंजर चलाने की मांग, रेल संघर्ष समिती ने प्रबंधन को सौंपा ज्ञापन, आने-जाने में लोगों को हो रही परेशानी
विनोद शुक्ला हिंद शेखर न्यूज़ कोरबा । कोरबा में लोकल ट्रेन परिचालन की मांग जोर पकड़ते जा रही है। रेल संघर्ष समिती अपनी मांगो को लेकर रेल प्रबंधन पर दबाव बनाने लगी है। हसदेस एक्सप्रेस का परिचालन बंद किए जाने से संघर्ष समिती काफी आक्रोषित है यही वजह है,कि समिती ने प्रबंधन के सामने कोरबा के दुर्ग तक फास्ट पैसेंजर चलाने की मांग की है।
समय बीतने के साथ ही कोरबा से यात्री ट्रेनों का परिचालन करने की मांग प्रबंल होने लगी है। गिनती की कुछ गाड़ियों को छोड़ दे तो यात्री ट्रेनों के नाम पर कोरबा वासियों को छलने का काम रेल प्रबंधन कर रही है। हसदेव एक्सप्रेस का परिचालन बंद किए जाने को लेकर कोरबा वासी सबसे अधिक आक्रोषित है। चांपा सहित दूसरे जिलों से आने-जाने में लोगों को काफी परेषानियों का सामना करना पड़ रहा है। यात्री गाड़ी का कोई दूसरा विकल्प नहीं होने से लोगों को यात्रा के नाम पर अतिरिक्त पैसे खर्चने पड़ रहे है। इस संबंध में रेल संघर्ष समिती के पदाधिकारियों ने बिलासपुर जाकर डीआरएफ से मुलाकात की और हसदेव एक्सप्रेस के परिचानल के साथ ही अन्य गाड़ियों को शुरु करने के संबंध में चर्चा की। इस संबंध में रेल प्रबंधन ने कहा है,कि कोरोना काल के कारण यात्रियों की कमी हो गई है लिहाजा हसदेस एक्सप्रेस का परिचालन संभव नहीं है। रेल प्रबंधन के इस मांग पर संघर्ष समिती ने कोरबा से दुर्ग तक फास्ट लोकल ट्रेन चलाने की मांग की है।
कोरबा से ट्रेनों का परिचालन शुरु नहीं होने से आम जनता को काफी परेषानियों का सामना करना पड़ रहा है। सुविधा नहीं होने से लोगों को एक स्थान से दूसरे स्थान तक जाने में अतिरिक्त पैसे देने पड़ रहे है। रेल संघर्ष समिती को उम्मीद है,कि उनकी मांगो पर रेल प्रबंधन जल्द गंभीरता से कार्रवाई करेगा और आम जनता को आने-जाने का सुगम विकल्प प्रदान करेगा।