प्रदेश में टीकाकरण को लेकर हो रही राजनीति दुखद…सरगुजा भाजपा जिलाध्यक्ष ने मुख्यमंत्री को लिखा पत्र
सरगुजा भाजपा जिला अध्यक्ष ललन प्रताप सिंह ने कलेक्टर सरगुजा के माध्यम से मुख्यमंत्री को सुझाव पत्र लिखकर कहां है कि वैश्विक महामारी कोविड-19 के इस कठिन समय में भेदभाव रहित टीकाकरण किया जाना चाहिए।
उन्होंने बढ़ते महामारी पर चिंता जताते हुए बतौर सुझाव कहा कि कोरोना के इस काल में भारत में ही बने दोनों टीके फिलहाल हमारे लिए आशा की एकमात्र किरण है , लेकिन प्रदेश में टीकाकरण के संबंध में हो रही राजनीति दुखद है, निम्नलिखित बिंदुओं पर प्रदेश भाजपा कुछ सुझाव देते हुए यह उम्मीद करती है कि इसे लागू कर छत्तीसगढ़ को कोरोना मुक्त बनाने के लक्ष्य की ओर आगे बढ़ेंगे।
माननीय उच्च न्यायालय के संबंधित आदेश के अनुपालन में कृपया ऐसी नीति बनाई जाए जिसमें कोई भेदभाव ना हो जिसमें सर्व समाज का हित निहित हो।
अंत्योदय बीपीएल और एपीएल श्रेणी के लिए अलग-अलग कस्बों में केंद्र का निर्माण किया जाना निहायत ही और अव्यावहारिक निर्णय है, हर केंद्र पर सभी श्रेणी के बूथ होने चाहिए।
भारतीय टीका के खिलाफ में प्रदेश में राजनीतिक कारणों से लगातार दुष्प्रचार किए गए इस कारण गांव कस्बों में टीका लगाने गए कर्मियों पर हमले की खबरें लगातार आ रही है, ऐसे कर्मियों की सुरक्षा हो, टीका कर्मियों का पर्याप्त बीमा भी हो, साथ ही फैलाई गई भ्रांतियों को दूर करने प्रदेश व्यापी जन जागरण अभियान चलाया जाना चाहिए।
टीके की वर्तमान कमी का एक कारण समय से आर्डर नहीं दे पाना भी है, हमारे पड़ोसी नये राज्य ने अनुमति मिलते ही 8 करोड़ टीकों के लिए आदेश कर दिया जबकि हम अंतिम दिन तक पत्र लिखते रहे, अतः आग्रह है कि अनावश्यक पत्राचार ना कर त्वरित निर्णय लें।
प्रदेश में करीब ढाई लाख टीके बर्बाद हुए हैं, इसे रोकने केरल मॉडल से प्रेरणा लें , वहां उन्होंने वेस्टेज सेक्टर के मद्देनजर दिए जाने वाले खुराक का बेहतरीन उपयोग कर केंद्र द्वारा मिले कुल डोज का 102% टीकाकरण कर लिया इस से सीखना चाहिए।
छत्तीसगढ़ में टेस्टिंग कम होते जाना चिंताजनक है, आरटीपीसीआर एंटीजन और टू नॉट सभी पर्याप्त संख्या में हो, जांच की कमी के कारण भी प्रदेश मे मृत्यु दर बढ़ना चिंताजनक है।
प्रत्येक पंचायत में ऑक्सीमीटर थर्मामीटर और दवा का कीट आदि शीघ्र उपलब्ध कराया जाए।
पत्रकारों को फ्रंटलाइन वर्कर मानते हुए इनका प्राथमिकता के आधार पर टीकाकरण हो।
नियमों को धता बताकर टीके लगवाने की अन्य खबरें चिंताजनक है , इस पर सख्ती से लगाम लगाया जाना चाहिए , नियमों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित हो।
कोविड-19 के नियमों तहत सभी समाज से और सभी राजनीतिक दल से कार्यकर्ताओं को अनुमति प्रदान करें।
भीड़ से बचाव को देखते हुए कलेक्शन सेंटर की संख्या बढ़ाई जाए तथा मेडिकल कॉलेज अंबिकापुर में वेंटिलटर की संख्या बढ़ाई जाए।
क्योंकि ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना मरीज ज्यादा निकल रहे हैं , अतः सरगुजा जिले के सभी उप स्वास्थ्य केंद्र और सामुदायिक केंद्रों मे ऑक्सीजन युक्त बेडों की संख्या बढ़ाई जाए, और जरूरत पड़ने पर बड़े ग्राम पंचायत में जहां संक्रमण ज्यादा है वहां सामुदायिक भवनों में भी ऑक्सीजन युक्त बेडों की व्यवस्था की जाए।