कोविड-19 अस्पतालों मे ऑक्सीजन की सप्लाई सूरजपुर से.. सूरजपुर कलेक्टर ने विद्या गैस इण्डस्ट्री नयनपुर में उत्पादित ऑक्सीजन के वितरण व विक्रय हेतु जारी किया आदेश
सूरजपुर / कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी रणबीर शर्मा ने जिले में कोविड-19 बीमारी के नियंत्रण एवं प्रभावी रोकथाम के लिए संचालित चिकित्सालयों में ऑक्सीजन की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने हेतु औद्योगिक क्षेत्र नयनपुर, गिरवरगंज, प्लाट नं. 181 में स्थित मेसर्स विद्या गैस इण्डस्ट्री में उत्पादित ऑक्सीजन के वितरण, विक्रय के सम्बन्ध में आदेश प्रसारित किया गया है, जिसमें मेसर्स विद्या गैस इण्डस्ट्री में उत्पादित समस्त ऑक्सीजन (ऑक्सीजन सिलेण्डर के साथ) की आपूर्ति मात्र चिकित्सालयों एवं चिकित्सा प्रयोजन के लिए ही किया जायेगा।
मेसर्स विद्या गैस इण्डस्ट्री में प्रतिदिन उत्पादित ऑक्सीजन के लिए पृथक से पंजी संधारित किया जायेगा, जिसमें इस आशय की प्रविष्टि की जायेगी कि किस तिथि को कितना ऑक्सीजन का उत्पादन किया गया है। कलेक्टर ने आदेश् किया है कि इसी तरह वितरण के सम्बन्ध में भी पृथक से पंजी संधारित किया जायेगा, जिसमें कितना ऑक्सीजन (ऑक्सीजन सिलेण्डर के साथ, सिलेण्डर की रीफिलिंग) किस-किस चिकित्सालय को भेजा गया है, किस चिकित्सालय का कितना सिलेण्डर रिफिल किया गया है, जिसका विवरण प्रविष्ट किया जायेगा। मेसर्स विद्या गैस इण्डस्ट्री द्वारा उत्पादित ऑक्सीजन की रिफिलिंग, सिलेण्डर के साथ ऑक्सीजन का विक्रय किसी भी औद्योगिक इकाई, व्यवसायिक प्रयोजन के लिए पूर्णतः प्रतिबंधित किया गया है। औद्योगिक इकाई, व्यवसायिक प्रयोजन के लिए अत्यावश्यक होने की स्थिति में अधोहस्ताक्षरकर्Ÿाा से पूर्वानुमति प्राप्त करने के पश्चात् ही औद्योगिक इकाई, व्यवसायिक प्रयोजन के लिए ऑक्सीजन सिलेण्डर, रिफिल कर सिलेण्डर प्रदाय किया जायेगा। मेसर्स विद्या गैस इण्डस्ट्रीज को प्रतिदिन उत्पादित ऑक्सीजन, वितरित सिलेण्डर का दैनिक रिपोर्ट किस-किस चिकित्सालय, अनुमति प्राप्त करने के उपरांत औद्योगिक इकाई, व्यवसायिक प्रयोजन के लिए प्रदाय की जानकारी महाप्रबंधक, जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र के माध्यम से सायं 06.00 बजे तक अधोहस्ताक्षरकर्Ÿाा के समक्ष प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा। आदेश की अवहेलना किये जाने पर आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51 से 60 एवं महामारी नियंत्रण अधिनियम 1897 की धारा 03 तथा अन्य सुसंगत विधि अनुसार कड़ी कार्यवाही की जाएगी, जिसके लिए इण्डस्ट्री प्रबंधक स्वयं जिम्मेदार होगा।